How to find probable age: आमतौर पर अपना भविष्य या कितने वर्षों तक जीएंगे, यह जानने के लिए ज्योतिषियों के पास जाते हैं। कुछ लोग हाथों की रेखाएं दिखाकर यह सब जानते हैं तो वहीं कुंडली भी बनाते हैं। हालांकि कुंडली की कई जगह जरुरत भी पड़ती है और यह सब एक तरह से जरुरी भी है, क्योंकि इनका अपना एक महत्व है। लेकिन, हम यदि सिर्फ यह जानना चाहते हैं कि कितने सालों तक जीवित रहेंगे, तो यह जानने का एक आसान तरीका भी है।
यह तरीका इतना आसान है कि इसके लिए हमें न किसी को अपने हाथों की रेखाएं दिखानी पड़ेगी और न ही कुंडली की ही जरुरत पड़ेगी। इन सबके बिना भी हम अपनी संभावित आयु के बारे में खुद ही जान सकते हैं। यह शानदार तरीका है अपने नाखून देख कर इन सबका पता लगा लेना। इस तरीके की जानकारी हार्वर्ड मेडिकल स्कूल के डॉक्टर डेविड सिनक्लेयर ने एक रिसर्च के बाद दी है।
डॉ. सिनक्लेयर के अनुसार आप अपने नाखूनों की ग्रोथ पर नजर रख कर जान सकते हैं कि आप ज्यादा दिनों तक जीवित रहेंगे या नहीं। उनके अनुसार नाखूनों की सेहत इस बात का संकेत देती है कि हमारे शरीर के भीतर हेल्दी सेल्स किस दर से बन रही हैं। अगर हमारे नाखून तेजी से बढ़ रहे हैं तो इसका मतलब है कि हमारे शरीर के भीतर उम्र संबंधी क्षति या नुकसान बहुत कम हो रहा है।
जल्दी-जल्दी बढ़ रहे तो खुश हो जाएं
डेली मेल को डॉ. डेविड सिनक्लेयर ने जानकारी दी कि नाखून तेजी से बढ़ रहे हैं और इन्हें जल्दी-जल्दी काटना पड़ रहा है तो इसका मतलब है कि आपके शरीर के अंदर आवश्यक अंगों की बायलॉजिकल आयु बहुत धीमी गति से बढ़ रही है। बायलॉजिकल आयु का मतलब है कि आपकी उम्र तो समय के हिसाब से बढ़ रही है, लेकिन जरुरी अंग जैसे हार्ट, किडनी, लिवर, स्किन, लंग्स आदि की कोशिकाएं उतनी तेजी से बूढ़ी नहीं होती। इसलिए इन अंगों की उम्र उस रफ्तार से नहीं बढ़ती।
रिसर्च में यह हुआ था खुलासा
वर्ष 1979 में वैज्ञानिकों ने सौ से अधिक लोगों के नाखूनों का कई सालों तक मेजरमेंट किया। उसके बाद पाया कि 30 साल की उम्र के बाद नाखूनों की बढ़ोतरी में हर सप्ताह 0.5 प्रतिशत की कमी हो जाती है। अगर नाखूनों की बढ़ोतरी इससे तेजी से हो रही है और अन्य लोगों की तुलना में नाखून तेजी से बढ़ रहे हैं तो इसका मतलब है कि आपके जीवनदायी अंगों की उम्र धीरे-धीरे बढ़ रही है और आप ज्यादा दिनों तक जी सकेंगे।
यह विज्ञान करता नाखूनों पर काम
डॉ. सिनक्लेयर के अनुसार इसका विज्ञान यह है कि जैसे-जैसे हमारी उम्र बढ़ती है, हमारा ब्लड सर्कुलेशन धीमा होता जाता है। इसका मतलब है कि नाखूनों को बढ़ने के लिए जरुरी पोषक तत्व शरीर के अंतिम छोर पर कम मिलते हैं। इसके अन्य कारकों में आहार भी शामिल हो सकता है। जो लोग पोषक तत्वों की कमी का सामना कर रहे होते हैं, उनकी नाखूनों की वृद्धि धीमी हो सकती है। इसके साथ ही हार्मोनल स्तर, किशोरावस्था और गर्भावस्था भी ऐसी होती है जब नाखूनों की वृद्धि तेज हो सकती है।
बीमारियों का भी चल सकता पता
हमारे नाखून केवल हमारी उम्र ही नहीं बताते बल्कि कई बीमारियों का भी पता लगाया जा सकता है। नाखूनों की लकीरें बुजुर्गों में अक्सर होती है। यह उम्र बढ़ने का एक सामान्य संकेत है। ऐसा इसलिए होता है क्योंकि नई कोशिकाएं वृद्धावस्था में धीमी गति से बनती है। अगर यही लकीरें युवाओं में हो जाए तो यह किसी न किसी बीमारी के संकेत हो सकते हैं। यह थायरायड, डायबिटीज, मम्स आदि के संकेत हो सकते हैं। यदि जिंक, विटामिन-ए, कैल्शियम और आयरन की कमी हो जाए तो भी नाखून इसके संकेत दिखा देते हैं।