निखिल सोनी, आठनेर (Betul Crime News)। मध्यप्रदेश के बैतूल जिले के आठनेर थाना क्षेत्र में नाबालिग बालक का जंगल में शव मिलने के मामले का पुलिस ने खुलासा कर दिया है। हत्या की वजह यह थी कि आरोपी, मृतक की बहन से शादी कर उसके परिवार की जमीन हड़पना चाहता था। मृतक नाबालिग बालक उसकी राह में बाधा बन रहा था। इसलिए उसने अपने दोस्त और एक नाबालिग के साथ मिलकर उसे मौत के घाट ही उतार दिया।
पुलिस विभाग बैतूल के जनसंपर्क अधिकारी द्वारा जानकारी दी गई कि 19 मार्च 2025 को सूचनाकर्ता ने थाना आठनेर में रिपोर्ट दर्ज कराई कि उसका 15 वर्षीय नाबालिग पुत्र 14 मार्च 2025 की रात करीब 10 बजे गांव के एक व्यक्ति के घर की छत पर सोया था। वह रात करीब 11 से 12 बजे के बीच लापता हो गया। इस सूचना पर थाना आठनेर में गुम इंसान दर्ज कर जांच शुरू की गई। बाद में अपराध क्रमांक 114/25 धारा 137(2) बीएनएस के तहत प्रकरण पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया।
जंगल में मिला था क्षत-विक्षत शव
जांच के दौरान नाबालिग बालक की तलाश की गई, लेकिन कोई सुराग नहीं मिला। 22 मार्च 2025 को सूचना प्राप्त हुई कि ग्राम ठेसका के जंगल में एक अज्ञात व्यक्ति का शव क्षत-विक्षत अवस्था में पड़ा है। इस सूचना पर पुलिस मौके पर पहुंची और वरिष्ठ अधिकारियों को अवगत कराया। अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सुश्री कमला जोशी एवं एसडीओपी भैंसदेही भूपेंद्र सिंह मौर्य द्वारा घटनास्थल का निरीक्षण किया गया।

एफएसएल टीम ने भी किया निरीक्षण
प्रभारी सीन ऑफ क्राइम मोबाइल यूनिट निरीक्षक आबिद अंसारी के नेतृत्व में एफएसएल टीम ने घटनास्थल पर पहुंचकर सूक्ष्मदर्शी निरीक्षण किया। थाना प्रभारी आठनेर निरीक्षक बबीता धुर्वे, उपनिरीक्षक संदीप परदेती एवं अन्य पुलिसकर्मियों ने मौके पर साक्ष्य संकलन कर फोटोग्राफी एवं वीडियोग्राफी कराई।
कपड़े और बेल्ट के आधार पर शिनाख्त
निरीक्षक बबीता धुर्वे द्वारा सूचनाकर्ता को बुलाया गया। गांव के ग्रामीणों की उपस्थिति में शव की शिनाख्त कराई गई। शव के कपड़ों, पहनी हुई बेल्ट एवं अन्य पहचान चिह्नों के आधार पर पुष्टि हुई कि यह मृतक, सूचनाकर्ता का नाबालिग पुत्र ही है। शव का पंचनामा तैयार कर वैधानिक प्रक्रिया पूर्ण की गई।
संदेह के आधार पर पूछताछ में खुलासा
पुलिस अधीक्षक बैतूल निश्चल एन. झारिया के निर्देशन में अज्ञात आरोपी की तलाश हेतु विशेष टीम गठित की गई। जांच के दौरान गोपाल पिता किशन मर्सकोले (उम्र 24 वर्ष) निवासी वनग्राम छिंदवाड़ा को अभिरक्षा में लेकर पूछताछ की गई। उसने बताया कि वह मृतक की बहन से शादी कर परिवार की जमीन हथियाने की योजना बना रहा था। मृतक इस रिश्ते में बाधा बन रहा था। इसलिए उसने हत्या की साजिश रची।

बहाने से बुलाकर ले गए जंगल
गोपाल ने अपने दोस्त मुकेश पवार और एक अपचारी बालक के साथ मिलकर हत्या की योजना बनाई। 14 मार्च की रात गोपाल, मुकेश और अपचारी बालक ने मृतक को बहाने से बुलाया और मोटर साइकिल से ठेसका के जंगल ले गए। वहां अपचारी बालक ने मृतक के हाथ पकड़ लिए, मुकेश ने पत्थर से सिर पर वार किया और गोपाल ने लकड़ी से सिर पर हमला कर दिया। मृतक की जब सांस चल रही थी, तो गोपाल ने लकड़ी से उसकी गर्दन दबाकर हत्या कर दी। शव को नाले में फेंक दिया गया और हत्या में प्रयुक्त चप्पल, लकड़ी एवं पत्थर जंगल में फेंक दिए गए।
लकड़ी, पत्थर और चप्पल जब्त
आरोपी गोपाल, मुकेश पवार एवं अपचारी बालक को गिरफ्तार कर उनके मेमोरेण्डम के आधार पर हत्या में प्रयुक्त लकड़ी, पत्थर एवं मृतक की चप्पल बरामद की गई। आरोपियों को आज न्यायालय में पेश किया जाएगा।
इस टीम की सराहनीय भूमिका
इस जघन्य हत्या की गुत्थी सुलझाने और आरोपियों को गिरफ्तार करने में थाना प्रभारी आठनेर निरीक्षक बबीता धुर्वे, प्रभारी सीन ऑफ क्राइम निरीक्षक आबिद अंसारी, उपनिरीक्षक संदीप परदेती, उपनिरीक्षक मांगीलाल ठाकरे, सहायक उप निरीक्षक दिनेश धुर्वे, संतोष चौधरी, आरडी वर्मन, प्रधान आरक्षक भजनलाल चौहान, पंकज बटके, आरक्षक बीरबल, भीमचंचल, विप्लव मिरासे, योगेश त्यागी, गिरीराज धाकड़, आरक्षक चालक पवन एनिया, डॉग मास्टर विवेक गाड़गे, आरक्षक गजेंद्र पटवारी एवं कंचन चौरे की महत्वपूर्ण भूमिका रही।